Anxiety meaning in Hindi

Anxiety meaning in Hindi – आजकल का जीवन इतना ज्यादा व्यस्त होता जा रहा है कि हर किसी को कोई ना कोई बात का तनाव होता ही है। बड़ो से लेकर बच्चो को भी तनाव का आभास होने लगा है। धीरे धीरे ये तनाव स्ट्रेस और एंग्जाइटी का रूप लेने लगता है फिर डिप्रेशन में पहुंचने में ज्यादा समय नहीं लगता। एंग्जाइटी एक बहुत बड़ा रूप लेने लगा है।हर एक व्यक्ति को इसके बारे में जानकारी होनी चाहिए, पर अभी भी बहुत से लोगो को anxiety के बारे में पता नहीं होता। अगर आप भी जानना चाहते है कि एंग्जाइटी क्या है? कैसे होता है? या इसके लक्षण क्या होते है? तो इस आर्टिकल को पूरा पढ़िए। हम इस आर्टिकल में Anxiety meaning in Hindi से संबंधित सभी जानकारी को आपको बताएंगे। वैसे तो anxiety को समझना बहुत बड़ी बात नहीं है परंतु इस आर्टिकल में हम दैनिक भाषा में और साधारण भाषा में आपको समझते है एंग्जाइटी का मतलब क्या होता है।

Anxiety meaning in Hindi

Anxiety का साधारण अर्थ होता है ‘ चिंता ‘, यह एक प्रकार का मानसिक रोग माना जाता है। एंग्जाइटी में व्यक्ति अधिक चिंता करने लगता है, उसका शरीर कांपने लगता है साथ ही में अधिक डर का आभास करने लगता है। यह एक ऐसी परिस्थिति होती है जिसमें नकारात्मक विचार दिमाग में ज्यादा आते है। व्यक्तिगत रूप से देखें तो एक ही चीज के बारे में अधिक सोचा जाए तो लोग एंग्जाइटी का शिकार बन सकते है। कहने को तो ये एक छोटा मोटा रोग है परंतु समय में इलाज ना किया गया तो ये बहुत बड़ा रूप ले सकता है।

अगर एंग्जाइटी बढ़ जाए तो रोगी को मिर्गी का दौरा भी हो सकता है और एंग्जाइटी अटैक आने पे वह खुद को भी नुकसान पहुंचा सकता है।अर्थात यह बीमारी मानसिक रूप से बीमार को कमजोर करने लगता है। हालाकि अगर वक्त रहते इस पर नियंत्रण पा लिया गया तो आप इसके खतरनाक रूप से बच सकते हैं।

एंग्जाइटी के लक्षण क्या है?

सामान्य जीवन में हर व्यक्ति को चिंता होती है जैसे की छात्रों को पढ़ाई की चिंता, घर के गार्जियन को घरखर्च की चिंता, व्यपारियो को अपने व्यापार की चिंता आदि। यह सब सामान्य चिंता होती है जो ज्यादातर हर एक व्यक्ति को होती है परंतु चिंता अगर बीमारी का रूप ले ले तो ये बहुत घातक हो सकता है। एंग्जाइटी जैसी बीमारी के कुछ लक्षण भी आपको दिखते है तो आप सतर्क हो जाए तथा इसका इलाज शुरू कर दें।

चलिए आपको इस बीमारी के लक्षण के बारे में बताते है जिससे इसे पहचानना आपके लिए आसान हो जाएगा और आप एंग्जाइटी को शरीर पे हावी होने से बच सकते है।

कभी कभी हम इतना ज्यादा सोचते है की लोगो के बीच उठना बैठना बंद कर देते है, और साथ ही हमारा आत्मविश्वास भी कम होने लगता है। हम खुद को लेके बहुत कुछ सोचने लगते है, इस प्रकार के लक्षण से भी एंजायटी हो सकती है।वैसे तो एंग्जाइटी के अलग अलग लक्षण है पर कुछ मुख और सामान्य लक्षण इस प्रकार के होते है:-

●चिंता व तनाव के कारण सिर में दर्द तथा मांसपेशियों में खिंचाव महसूस होना।

●छंती में दर्द व खींचाव।

●दिल की धड़कन तेज होना।

●शरीर कांपना तथा पसीना आना।

●घुटन और डर महसूस होना।

●अनावश्यक आग्रह करना।

इन्हें भी पढ़ें:-

एंग्जाइटी के कारण क्या है?

एंग्जाइटी के अनेक सारे कारण हो सकते हैं। चलिए कुछ कारण के बारे में हम आपको बताते हैं।

●अगर आपके परिवार में किसी भी व्यक्ति को मानसिक बीमारी हो तो यह भी एंग्जाइटी का कारण बन सकता है। क्युकी कई सारी बीमारियो पीढ़ी दर पीढ़ी आगे बढ़ती है।

●घरेलू तनाव के कारण भी एंग्जाइटी हो सकती है। जैसे काम का तनाव, घर में हुई किसी घटना कि चिंता व किसी व्यक्ति से ज्यादा लगाव के कारण आपको एंग्जाइटी का सामना करना पड़ सकता है।

●स्वस्थ के कारण भी एंग्जाइटी बढ़ सकती है। जैसे उम्र होते होते व्यक्ति के शरीर में कई सारी बीमारियो घर करने लगती है जैसे हृदय रोग, थायरॉयड, रक्तचाप, डायबिटीज आदि , तो ऐसे भी अगर ज्यादा चिंता किया जाए तो एंग्जाइटी हो सकती है।

●एंग्जाइटी का कारण आपकी पर्सनैलिटी और आपका व्यापार भी बन सकता है। जैसे कि आप बचपन से सब चीज अच्छा करते हो, आप हमेशा दूसरों से आगे रहते हो पर किसी कारणवश आप अचानक से दूसरों से बेहतर ना बन पाए तो ऐसी स्थिति में चिंता तनाव के साथ एंग्जाइटी होने लगती है।

●किसी भी प्रकार का नशा करने से भी एंग्जाइटी आपके शरीर में घर करने लगती है। अक्सर लोग परेशानियों को भुलाने के लिए नशे का सहारा देते हैं, परंतु आपकी शारीरिक व मानसिक स्थिति को खराब कर देती है और परिणाम होता है कि आप एक एंग्जाइटी के रोगी बन जाते हैं।

●बड़े-बड़े व्यापारियों को अपने व्यापार में काफी पैसे इन्वेस्ट करने पड़ते है जिनसे उन्हें मुनाफा होता है, परंतु अगर उन्हें अचानक से घाटे का सामना करना पड़े तो उनका पूरा व्यापार डूबने की स्थिति में आ जाता है। ऐसे समय में उनकी मानसिक स्थिति पर एंग्जाइटी हावी हो सकता है।

एंग्जाइटी डिसऑर्डर का इलाज :-

Anxiety disorder जैसी बीमारियों का इलाज करने के लिए कई सारी रास्ते हो सकते है। चलिए हम कुछ निम्न इलाज के बारे में आपको बताते है।

●मेडिटेशन करना एंग्जाइटी के मरीजों के लिए बहुत ही ज्यादा अच्छा साबित होता है। मेडिटेशन दिमाग को शांत कर देता है ऐसे में मानसिक कोई भी बीमारी शरीर पर हावी नहीं हो सकती।

●साइकोथेरेपी की मदद से भी एंग्जाइटी से छुटकारा पाया जा सकता है। यह समय अनुशासन आपको थेरेपी देंगे और कुछ समय में ही आप एंग्जाइटी से निजात पा जाएंगे।

●स्वास्थ्य भोजन और समय पर भोजन करना शरीर के लिए बहुत ही फायदेमंद होता है। और जब आप अंदर से स्वस्थ होंगी तो कोई भी बीमारी से छुटकारा पाया जा सकता है।

●संगीत सुनना मन के लिए बहुत ही शांति में होता है। यह आपके दिमाग को भी कंट्रोल कर सकता है ऐसी में शांत संगीत सुनने से एंजायटी डिसऑर्डर खत्म होता है।

निष्कर्ष:-

एंग्जाइटी जैसी समस्या दिन-ब-दिन बढ़ती जा रही है। अगर आपको भी ऐसे लक्षण दिखाई देते हैं तो अपने नजदीकी चिकित्सक से सलाह लें और जल्द से जल्द इसका इलाज करवाए। इस आर्टिकल की मदद से हमने आपको Anxiety meaning in Hindi के साथ ये क्या होता है, इस बीमारी को आप कैसे पहचान सकते है व इस बीमारी से कैसे बचा जा सकता है, और इससे संबंधित सभी जानकारी आपको दी है। आशा है इस आर्टिकल से आपको Anxiety से जुड़ी पर्याप्त जानकारी मिली होगी।

Sharing is caring..

Leave a Comment